महाराष्ट्र में शुरू हुए लाउडस्पीकर और हनुमान चालीसा विवाद पर शिवसेना ने हमला बोला है। अपने मुखपत्र सामना में शिवसेना ने लिखा है, लाउडस्पीकर, रामनवमी, हनुमान चालीसा जैसे विवाद देश डुबोने वाली साजिश है। महंगाई और बेरोजगारी देश का प्रमुख मुद्दा है। उससे ध्यान भटकाने के लिए बादशाह मुर्गे लड़ा रहा है। बेरोजगारी व महंगाई पर मोर्चे और आंदोलन होने चाहिए। देश को इस पर चर्चा करनी चाहिए, लेकिन हनुमान चालीसा और मस्जिदों के लाउडस्पीकर के मामले को लेकर आंदोलन हो रहे हैं।
सामना में लिखा गया है कि धार्मिक घृणा के मामले में हिंदुस्तान का चरित्र अफगानिस्तान से भी ज्यादा बिगड़ गया है। अफगानिस्तान की बागडोर जिस प्रवृत्ति के लोगों के हाथ में है, वैसी तस्वीर भविष्य में हमारे देश में निर्माण हो सकती है और वैसी तस्वीर आज दिखाई भी देने लगी है। यहां तक कि गरीबी और भुखमरी के मामले में हिंदुस्तान ने पाकिस्तान और बांग्लादेश को भी पीछे छोड़ दिया है।
शिवसेना ने अपने मुखपत्र में लिखा, महंगाई और बेरोजगारी से ध्यान भटकाने के लिए दंगे का सहारा लिया जा रहा है। लाखों पढ़े-लिखे बेरोजगार युवाओं को ट्रोलर बनाने का काम दिया गया है। यही अब रोजगार है। देश में धार्मिक कलह और नफरत किस स्तर पर पहुंच गई है? और हमारे प्रधानमंत्री इस पर आज भी चुप हैं। आगे लिखा- मुश्किल है अब इस मुल्क में, अमन की वापसी, बादशाह खुद यहां मुर्गे लड़ाता है…।