हल्द्वानी। समाज को शांति व प्रेम की सीख देने वाले प्रभु यीशु मंगलवार मध्य रात्रि में जन्म लेंगे। प्रभु यीशु के स्वागत के लिए गिरिजाघरों को विशेष रूप से सजाया गया है। घरों की भी साज-सज्जा की गई है। इसाई समाज में उल्लास का माहौल है।
काठगोदाम सेंट थेरेसा स्थित कैथोलिक चर्च में प्रभु यीशु मसीह की जन्म गाथा को झांकी के रूप में प्रदर्शित किया जाएगा। फादर रॉयल एंथोनी ने बताया कि झांकी सजकर तैयार हो चुकी है। मंगलवार को मिड नाइट प्रार्थना सभा आयोजित की जाएगी। इससे पहले प्रभु यीशु के जन्म के प्रतीक को मनाया जाएगा। खुशी के कैरल गाए जाएंगे। बुधवार को क्रिसमस पर विशेष आयोजन होंगे। इधर, हल्द्वानी मैथोडिस्ट चर्च को क्रिसमस ट्री, गुब्बारों से सजाया गया है। पास्टर इंचार्ज राजीव मैसी ने बताया कि मध्य रात्रि में प्रार्थना सभा होगी। एक-दूसरे को क्रिसमस की बधाई दी जाएगी। वहीं, घरों में भी झांकियां सजाई गई हैं।
ऐसा माना जाता है कि यीशु के जन्म से पहले ही ये भविष्यवाणी हो गई थी कि धरती पर ईश्वर का पुत्र जन्म लेने वाला है जो दुनिया का उद्धार करेगा। यीशु का जन्म एक गौशाला में हुआ था, जिसकी पहली खबर गडरियों को मिली थी और उसी समय एक तारे ने ईश्वर के जन्म का संकेत दिया था।
नैनीताल रोड स्थित मैथोडिस्ट चर्च को सात दशक से अधिक पुराना बताया जाता है। चर्च से जुड़े संजय कुमार ने बताया कि जो चर्च आज दिखता है, उसे करीब दस साल पहले जीर्णोद्धार के बाद यह रूप मिला था। पास्टर इंचार्ज राजीव मैसी ने बताया कि प्रत्येक रविवार को चर्च में विशेष प्रार्थना सभा आयोजित होती है। मनोकामना पूरी होने पर लोग प्रभु का धन्यवाद करते आते हैं। वहीं काठगोदाम में रोडवेज डिपो के पास भी मैथोडिस्ट चर्च है। जिसे 1955 में निर्मित बताया जाता है।