तीर्थ पुरोहित हक-हकूक धारी महापंचायत का एलान, देवस्थानम के खिलाफ जाएंगे कोर्ट

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ऋषिकेश। सरकार के चारधामों सहित राज्य के 50 मंदिरों का देवस्थानम अधिनियम बनाकर नियंत्रण अपने हाथों में लिए जाने का देवभूमि तीर्थ पुरोहित हक-हकूक धारी महापंचायत ने विरोध किया। सरकार के इस फैसले के खिलाफ महापंचायत ने उच्च न्यायालय में अलग-अलग याचिका दायर करने का एलान किया है।
ऋषिकेश के भगवान आश्रम में आयोजित देवभूमि तीर्थ पुरोहित हक-हकूक धारी महापंचायत के अध्यक्ष कृष्णकांत कोठियाल की अध्यक्षता और महामंत्री हरीश डिमरी के संचालन में बैठक आयोजित हुई। अध्यक्ष कृष्णकांत कोठियाल ने कहा कि राज्य की भाजपा सरकार जहां एक ओर अपने आप को पूरी तरह धर्म से जुड़ी मानती है। वहीं वह उत्तराखंड देवभूमि के विश्वविख्यात चारों धामों सहित उन 50 मंदिरों का नियंत्रण सरकारी हाथों में दिए जाने की योजना पर अमल कर रही है। इनका संचालन तीर्थ पुरोहितों द्वारा किया जाता है, जिसे उत्तराखंड के हक-हकूक धारी कभी बर्दाश्त नहीं करेंगे।
इसे लेकर उत्तराखंड उच्च न्यायालय में देश के विख्यात अधिवक्ता सुब्रमण्यम स्वामी द्वारा याचिका भी दायर की गई है। कोठियाल का कहना है कि इस अधिनियम को लाने से पूर्व भाजपा सरकार द्वारा तीर्थ पुरोहित समाज को विश्वास में नहीं लिया गया है, जिसके कारण आज पूरा समाज अपने आप को अपमानित महसूस किए जाने के साथ ठगा हुआ समझ रहा है। उन्होंने कहा कि इन मंदिरों के प्रचार प्रसार के लिए उत्तराखंड का तीर्थ पुरोहित समाज देश ही नहीं पूरे विश्व में भ्रमण करता है।

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