यूपी कैबिनेट के महत्वपूर्ण फैसले : डिग्री कॉलेजों के एसोसिएट प्रोफेसर भी अब बन सकेंगे प्रोफेसर

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लखनऊ। प्रदेश में राजकीय एवं सहायता प्राप्त महाविद्यालयों में कार्यरत एसोसिएट प्रोफेसर को भी अब प्रोफेसर पद पर पदोन्नति मिल सकेगी। कैबिनेट ने राजकीय एवं सहायता प्राप्त महाविद्यालयों में प्रोफेसर पद पर पदोन्नति का प्रस्ताव बृहस्पतिवार को कैबिनेट बाई सकुर्लेशन मंजूर किया है। उप मुख्यमंत्री डॉ. दिनेश शर्मा ने बताया कि अब तक एसोसिएट प्रोफेसर को प्रोफेसर पद पर पदोन्नति की व्यवस्था नहीं थी। इससे महाविद्यालयों के एसोसिएट प्रोफेसर अनुभव और योग्यता के बाद भी विश्वविद्यालयों में कुलपति या अन्य उच्च शिक्षण संस्थानों में नियुक्त नहीं हो पाते थे। अब महाविद्यालयों के एसोसिएट प्रोफेसर को भी प्रोफेसर के पद पर पदोन्नति मिल सकेगी। इससे उन्हें भी कुलपति बनने का अवसर मिल सकेगा। पुलिस विभाग में उप निरीक्षक के पद पर खिलाड़ी कोटे से भर्ती और बिना पारी पदोन्नति के लिए नियमावली को कैबिनेट बाई सकुर्लेशन के जरिए मंजूरी दे दी गई है। इससे खिलाड़ी कोटे से पुलिस उप निरीक्षक के पद पर भर्ती का रास्ता साफ हो गया है। अपर मुख्य सचिव गृह अवनीश कुमार अवस्थी ने बताया कि इस नियमावली के बनने के बाद अब पुलिस विभाग में पुलिस उप निरीक्षक के 2 प्रतिशत पद कुशल खिलाड़ियों से भरे जा सकेंगे। साथ ही खेल के क्षेत्र में अच्छा प्रदर्शन करने वाले खिलाड़ियों को बिना पारी पदोन्नति भी दी जा सकेगी। बता दें कि प्रदेश में सन 2000 के बाद से पुलिस उप निरीक्षक खिलाड़ी कोटे से सीधी भर्ती नहीं हुई है। 2000 में 38 पदों पर खिलाड़ी कोटे से भर्ती की गई थी। नियमावली बनने के बाद प्रदेश में उप निरीक्षक के पदों पर होने वाली अगली भर्ती में खिलाड़ी कोटे से 2 प्रतिशत उप निरीक्षक भर्ती किए जा सकेंगे।हरदोई के कस्बा संडीला में निमार्णाधीन ग्रेन (अनाज) आधारित आसवनी का काम समय से पूरा न होने के कारण कैबिनेट बाईसकुर्लेशन के जरिए इसके लिए अतिरिक्त समय देने को मंजूरी दी गई है। अपर मुख्य सचिव आबकारी संजय आर.भूसरेड्डी ने बताया कि संडीला में मैसर्स श्री गंग इंडस्ट्रीज एंड एलाइड प्रोडेक्ट लि. ग्रेन आधारित आसवनी का निर्माण कर रही है। इसके लिए उसे चार महीने का समय काम पूरा करने का दिया गया था पर कोरोना महामारी के कारण काम समय से पूरा नहीं हो पाया। कुछ मशीनें बाहर से नहीं मंगाई जा सकीं। अब फिर से इस इकाई को चार माह का अतिरिक्त समय कैबिनेट बाईसकुर्लेशन के जरिए मंजूर किया गया है। प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत लाभार्थियों को वितरित किए गए झोले व प्रचार सामग्री का खर्च खाद्य एवं रसद विभाग उठाएगा। सूचना विभाग की ओर से उपलब्ध कराए गए झोले व प्रचार सामग्री का बजट खाद्य एवं रसद विभाग से आवंटित कराने के प्रस्ताव को कैबिनेट बाई सकुर्लेशन मंजूरी दी गई। गौरतलब है कि राशन वितरण के लिए सूचना विभाग ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की फोटो लगे झोले उपलब्ध कराए थे। झोलों के साथ सरकार की योजनाओं की प्रचार सामग्री भी वितरित की गई थी। इस पर करीब सौ करोड़ रुपये से अधिक खर्च हुआ था। कैबिनेट ने खाद्य एवं रसद विभाग से इसका बजट सूचना विभाग को दिलाने और खाद्य एवं रसद विभाग को इसके लिए राशि उपलब्ध कराने का प्रस्ताव मंजूर किया है।कोविड के दौरान बेहतर कार्य करने वाली आशा, शहरी आशा एवं आशा संगिनियों एवं संविदा पर कार्यरत एएनएम को प्रोत्साहन राशि दी जाएगी। यह राशि राज्य बजट से दिया जाएगा। इस प्रस्ताव कों बुधवार को कैबिनेट ने मंजूरी दे दी है। मालूम हो कि दूसरी लहर के दौरान बेहतर कार्य करने वाले सभी स्वास्थ्य कर्मियों को प्रोत्साहन राशि देने की घोषणा की गई थी। इसके तहत कोविड अस्पताल में कार्य करने वाले कर्मचारियों को उनके वेतन का 25 फीसदी अतिरिक्त प्रोत्साहन राशि, लैब टेक्नीनिशन, डाटा एंट्री आपरेटर, लैब अटेंडेंट को 10 फीसदी अतिरिक्त राशि देने का निर्देश दिया गया था। यह राशि कोविड मे किए गए ड्यूटी के दिनों के आधार पर तय की गई थी। तीसरी लहर को देखते हुए इस राशि के लिए अभी से व्यवस्था की जा रही है। नोएडा में अंतरराष्ट्रीय फिल्म सिटी की स्थापना के लिए जल्द टेंडर जारी किया जाएगा। कैबिनेट ने टेंडर का रिक्वेस्ट फॉर प्रपोजल (आरएफपी) मंजूर कर लिया है। इस संबंध में यमुना एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण की ओर से आरएफपी तैयार किया गया था।

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