देहरादून। कैबिनेट की बैठक में कई अहम फैसलों पर मुहर लगी है। एक ओर जहां स्टोन क्रेशर नीति के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई। वहीं, फैसला लिया गया कि अब स्टार्ट अप नीति में राज्य नीति के अनुसार पंजीकरण होगा और राज्य के नियमों का पालन करना जरूरी होगा। इसके साथ ही उत्तर प्रदेश जमीदारी विनाश अधिनियम में संशोधन के तहत कृषि, बागवानी, वृक्षारोपण, मत्स्य पालन में 30 वर्षों के लिए पट्टा दिया जा सकता है।
मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत की अध्यक्षता में बुधवार को मंत्रिमंडल की बैठक में 27 फैसलों को मंजूरी दी गई है। सरकार के प्रवक्ता और कैबिनेट मंत्री मदन कौशिक ने मंत्रिमंडल के फैसलों के बारे में विस्तार से जानकारी दी। आइए जानते हैं बैठक में किन-किन प्रस्तावों को मंजूरी दी गई।
कैबिनेट के अहम फैसले
स्टोन क्रेशर का हॉट मिक्स प्लांट नीति का निर्माण किया जाएगा। साथ ही स्थापना शूल्क में बढ़ोतरी की गई है।
-उच्च शिक्षा सेवा नियमावली में संशोधन कुलसचिव, उप कुलसचिव, सहायक कुलसचिव की नियुक्ति केन्द्रीयत सेवा नियमावली के तहत की जायेगी।
-भारतीय वन अधिनियम 1927 में संशोधन के अंतर्गत उत्तराखण्ड राज्य ने उपसमिति का गठन किया। इस समिति में विभागीय मंत्री हरक सिंह रावत, अध्यक्ष, कृषि मंत्री सुबोध उनियाल, शिक्षा मंत्री अरविंद पांडेय होंगे, समिति अपनी रिपोर्ट 15 दिनों के भीतर प्रस्तुत करेंगी।
-उपनल आउटसोर्सिंग, कार्मिक के यात्रा भत्ता में जीएसटी लागू हो जाने के कारण सर्विस चार्ज नहीं लिया जाएगा।
– वैट और केन्द्रीय ब्रिकी कर सेस जमा करने के लिये अलग खाता, नया शीर्षक सृजित किया गया।
– राज्य में आपदा नियंत्रण हेतु आपदा संवेदनशील भवनों के लिए तीन करोड़ 73 लाख का बजट आवंटन 62 पदों के लिये किया जाएगा जो सर्वे कार्य करेगा।
-उच्च भूकंप न्यूनीकरण कार्यक्रम के अंतर्गत एकीकृत सुरक्षा कार्यक्रम बनाया जाएगा।
-सामुदायिक रेडियो स्टेशन की अनुदान राशि 5 लाख से बढ़ाकर 10 लाख की गई।
-राज्य अधीन डीएमएमसी का विलय यूएसडीएमए के पदों में किया जायेगा।
-व्यवसाय संघ अधिनियम 1926 में संशोधन किया गया।
-वायलर अधिनियम 1923 में संशोधन कर सहायक निदेशक के पदों में वृद्वि की गई।
-राज्य की राज्य बीमा निगम विभागीय ढांचे के सहायक वित्त अधिकारी का नाम सहायक लेखाधिकारी होगा।
-श्रम संविदा अधिनियम 1970 में संशोधन।
-आयुष चिकित्सक हेतु चिकित्सा निषेध भत्ता 04 जनवरी, 2017 से दिया जायेगा।
-शिक्षा आचार्य को अनुदेशक में समायोजन किया जायेगा। 31 मार्च, 2019 तक जिन शिक्षा आचार्यों ने टीईटी किया था, उनको नियमित किया जायेगा। शेष अपने पद पर बने रहेंगे।
-उत्तराखण्ड चिकित्सा सेवा चयन बोर्ड पिछले चार वर्ष से संबंधित प्रतिवेदन विधानसभा पटल पर रखा जाएगा।
-उत्तराखण्ड कृषि उत्पादन मंडी अधिनियम 2019 में संशोधन, रिवॉल्व फंड की जगह बोर्ड और मंडियों से 10 प्रतिशत अंशदान जमा कराया जायेगा।
-उत्तराखण्ड जैविक कृषि अधिनियम विधेयक स्वीकृत।
-उत्तराखंड नर्सरी एक्ट, फल पौधशाला विधेयक के तहत निरीक्षण जांच और प्रोत्साहन की व्यवस्था।
-सुरक्षित भवन तकनीक, राज्य मिस्त्री मानदेय भवन निर्माण के लिए 350 से 500 रूपये किया गया।
-होम स्टे योजना ऋण को स्टाम्प मुक्त करने के लिए प्रतिपूर्ति व्यवस्था।
-कारखाना नियमावली 1950 में संशोधन, अब प्रति वर्ष 10 प्रतिशत वृद्धि के स्थान पर 5 वर्ष बाद 5 प्रतिशत की वृद्धि की जाएगी।
-प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना के गैर तकनीकि निसंवर्गीय पद ग्राम विकास विभाग में 604 पदों का समायोजन होगा।
-प्रधानमंत्री आवास योजना में कृषि भूमि को बदलने की नियमावली हेतु मुख्य सचिव की अध्यक्षता मे कमेटी रिपोर्ट देगी।
-विश्व बैंक सहायता ऋण प्रबन्धन हेतु साफ्टवेयर तैयार करेगा।